Congress: राजस्थान के सियासी गलियारों में हर दिन के साथ एक नया मुद्दा शुरू होता है और उस पर चर्चा तेज़ हो जाती है फ़िलहाल इस वक्त पूर्व मंत्री गोविंद राम मेघवाल के उस वीडियो की खूब चर्चा हो रही है, जिसमें वो अशोक गहलोत के फिर से मुख्यमंत्री बनने की बात कह रहे हैं. वीडियो में मेघवाल बोलते है कि “अगले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के जीतने पर अशोक गहलोत ही सीएम बनेंगे. वो ना सिर्फ मुख्यमंत्री पद की रेस में हैं, बल्कि सबसे पहले नंबर पर दौड़ रहे हैं. अशोक गहलोत के विकास कार्यों की हर जगह चर्चा है. इसमें कोई शक नहीं है कि अगर हाईकमान चाहे तो वे फिर से सीएम बनने सकते हैं”.
पूर्व मंत्री के इस बयान पर अशोक गहलोत के पूर्व OSD लोकेश शर्मा की प्रतिक्रिया भी सामने आई है. उन्होंने एक्स पर लिखा, ‘मैंने पहले ही कहा था. एक पार्टी जीतने और सरकार बनाने के लिए चुनाव लड़ती है. जबकि कांग्रेस पार्टी में अलग-अलग नेता CM बनने तक ही सीमित रह जाते हैं. बस यही व्यक्तिगत स्वार्थ पार्टी हित पर हमेशा हावी रहता है, जिसका खामियाजा पूरी पार्टी उठाती है. अभी तो हार को एक वर्ष नहीं हुआ, 4 साल मजबूती और एकजुटता से पार्टी के लिए मेहनत करने का समय है. लेकिन वही ढर्रा, वही राग. अपने-अपने नामों से अनुराग..!!’
राजस्थान में अगले विधानसभा चुनाव होने में अभी 4 साल बाकी हैं. लेकिन कांग्रेस पार्टी में अभी से मुख्यमंत्री पद को लेकर खींचतान शुरू हो गई है. सीएम की कुर्सी को लेकर अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच हुई लड़ाई का हर कोई गवाह है. भारतीय जनता पार्टी आज भी इसे मुद्दा बनाकर कांग्रेस को घेरती है. इस सब के बावजूद पूर्व मंत्री का कुर्सी को लेकर बयान देना कांग्रेस में सबकुछ ठीक न होने के संकेत दे रहा है.
हालाँकि राजस्थान में हर 5 साल बाद सरकार बदलने का ‘रिवाज’ है. पिछले कुछ विधानसभा चुनाव के परिणामों में यह देखा गया है कि जनता एक बार कांग्रेस तो एक बार बीजेपी को सत्ता की चाबी सौंपती है. यह रिवाज साल 1993 से चलता हुआ आ रहा है. हर चुनाव में सत्ताधार पार्टी ‘रिवाज’ बदलने का दावा तो करती है, मगर राज्य के 5.25 करोड़ से अधिक मतदाता वोट डालकर अपना फैसला सुना देते हैं, जो कभी कांग्रेस तो कभी बीजेपी के पक्ष में होता है. इसी ‘रिवाज’ पर भरोसा करते हुए पूर्व मंत्री गोविंद राम मेघवाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में यह बयान दिया है.